क्या हम भारतीय सच्चे देशभक्त हैं?
हेल्लो दोस्तों मैं हूं पंकज कुमार और मेरे ब्लॉग india first pk मे आपका स्वागत है। दोस्तों आज यह मेरा पहला ब्लॉग है और इसके साथ ही आज मै अपने ब्लॉगिंग कैरियर की शुरुआत कर रहा हूं।
जैसा कि आप सभी जानते हैं कि अभी भारत में लोकसभा चुनाव चल रहा है और इस बार के चुनाव में सभी बड़े मुद्दे गायब हो गए हैं इस बार सबसे बड़ा मुद्दा देशभक्ति का है। मोदी सरकार देशभक्ति के नाम पर विपक्ष पर हमला बोल रहा है वहीं विपक्ष भ्रष्टाचार, किसानों की स्थिति, बेरोजगारी, राफेल मुद्दे पर सरकार को घेर रहा है।
देशभक्ति का मुद्दा तब जोर पकड़ा जब भारतीय सेना ने पाकिस्तान पर सर्जिकल स्ट्राइक किया।सर्जिकल स्ट्राइक के बाद विपक्ष ने स्ट्राइक के सबूत मांगे थे तब सरकार ने विपक्ष पर देशद्रोह और आतंकियों की भाषा बोलने का आरोप लगाया था। इस बार के चुनाव में सभी बड़े मुद्दे जैसे राफेल लड़ाकू विमान घोटाला, बेरोजगारी, नोटबंदी, महगांई, किसानों की स्थिति, जीएसटी आदि मुद्दों पर देशभक्ति का मुद्दा हावी है।
क्या हम वास्तव में देशभक्त हैं?
इस सवाल का जवाब सब हां में देगे लेकिन इस पर सबको गहराई से सोचने की जरूरत है। सबसे बड़ा सवाल यह है कि हम देश के लिए क्या कर रहे हैं, हम ऐसा कौन सा काम कर रहे हैं जिससे कि देश का भला होता हो। क्या हम संविधान का पालन कर रहे हैं? क्या हम नियम कानून का पालन करते हैं। 90% से ज्यादा लोग नियमों का पालन नहीं करते, तो हम कैसे देश भक्त हैं?
क्या कारण हैं जो हमें सच्चा देशभक्त बनने से रोक रहा है।
हम अपने रोजमर्रा की जिन्दगी में ऐसे काम कर जाते हैं जिससे देश को नुकसान होता हो, नियमों का उल्लघंन करते हैं इससे हमें तो फायदा पहुंचता है लेकिन इससे देश को भारी नुकसान होता है। निम्न बाते जो हमे सच्चा देशभक्त बनने से रोक रहा है-
इसके कारण देश को हो रहा नुकसान -
लोग सोचेगे की चाइनीज कम्पनियों के उत्पाद इस्तेमाल करने से कोई कैसे देशद्रोह हो गया लेकिन जरा सोचे चीन हमें कितना नुकसान पहुंचा रहा है। चीन और भारत के बीच 2 बार युद्ध हो चुका है, चीन ने हमारे देश के बहुत बड़े भूभाग पर कब्जा किया हुआ है।चीन हमें नुकसान पहुंचा रहा है वहीं हम लोग चीन को फायदा पहुंचा रहे हैं। स्वदेशी उत्पादों का उपयोग नहीं करने के कारण देश की अर्थव्यवस्था बहुत कम है। कोई भी व्यक्ति जिसका सपना अंतरिक्ष वैज्ञानिक बनने का हो तो वह इसरो में वैज्ञानिक बनना नहीं चाहता बल्कि उसका सपना नासा में काम करने का होता है। इससे देश का भला कैसे होगा । ये बात देशवासियों को ही तय करना है कि वे देश का विकास, सम्पन्नता, अमीरी देखना चाहते है या गरीबी, भुखमरी, और सर्वनाश..........
हेल्लो दोस्तों मैं हूं पंकज कुमार और मेरे ब्लॉग india first pk मे आपका स्वागत है। दोस्तों आज यह मेरा पहला ब्लॉग है और इसके साथ ही आज मै अपने ब्लॉगिंग कैरियर की शुरुआत कर रहा हूं।
जैसा कि आप सभी जानते हैं कि अभी भारत में लोकसभा चुनाव चल रहा है और इस बार के चुनाव में सभी बड़े मुद्दे गायब हो गए हैं इस बार सबसे बड़ा मुद्दा देशभक्ति का है। मोदी सरकार देशभक्ति के नाम पर विपक्ष पर हमला बोल रहा है वहीं विपक्ष भ्रष्टाचार, किसानों की स्थिति, बेरोजगारी, राफेल मुद्दे पर सरकार को घेर रहा है।
देशभक्ति का मुद्दा तब जोर पकड़ा जब भारतीय सेना ने पाकिस्तान पर सर्जिकल स्ट्राइक किया।सर्जिकल स्ट्राइक के बाद विपक्ष ने स्ट्राइक के सबूत मांगे थे तब सरकार ने विपक्ष पर देशद्रोह और आतंकियों की भाषा बोलने का आरोप लगाया था। इस बार के चुनाव में सभी बड़े मुद्दे जैसे राफेल लड़ाकू विमान घोटाला, बेरोजगारी, नोटबंदी, महगांई, किसानों की स्थिति, जीएसटी आदि मुद्दों पर देशभक्ति का मुद्दा हावी है।
क्या हम वास्तव में देशभक्त हैं?
इस सवाल का जवाब सब हां में देगे लेकिन इस पर सबको गहराई से सोचने की जरूरत है। सबसे बड़ा सवाल यह है कि हम देश के लिए क्या कर रहे हैं, हम ऐसा कौन सा काम कर रहे हैं जिससे कि देश का भला होता हो। क्या हम संविधान का पालन कर रहे हैं? क्या हम नियम कानून का पालन करते हैं। 90% से ज्यादा लोग नियमों का पालन नहीं करते, तो हम कैसे देश भक्त हैं?
क्या कारण हैं जो हमें सच्चा देशभक्त बनने से रोक रहा है।
हम अपने रोजमर्रा की जिन्दगी में ऐसे काम कर जाते हैं जिससे देश को नुकसान होता हो, नियमों का उल्लघंन करते हैं इससे हमें तो फायदा पहुंचता है लेकिन इससे देश को भारी नुकसान होता है। निम्न बाते जो हमे सच्चा देशभक्त बनने से रोक रहा है-
- संविधान में निहित नियम और कानून का सही तरीके से पालन न करना।
- स्वदेशी उत्पादों का उपयोग नहीं किया जाना।
- चाइना में बने उत्पाद या चाइनीज कम्पनियों के उत्पाद का उपयोग करना।
- अपना आय कम बताकर सरकार को टैक्स ना देना, टैक्स चोरी करना।
- दिनों दिन बढ़ते अपराध।
- भारत में जन्म लेकर विदेशी नौकरी के लिए विदेशी नागरिकता लेकर विदेश में ही टैक्स भरना।
- अच्छी खासी सैलरी के लिए देश में नौकरी न करके विदेशी संस्थानों में नौकरी करना।
इसके कारण देश को हो रहा नुकसान -
लोग सोचेगे की चाइनीज कम्पनियों के उत्पाद इस्तेमाल करने से कोई कैसे देशद्रोह हो गया लेकिन जरा सोचे चीन हमें कितना नुकसान पहुंचा रहा है। चीन और भारत के बीच 2 बार युद्ध हो चुका है, चीन ने हमारे देश के बहुत बड़े भूभाग पर कब्जा किया हुआ है।चीन हमें नुकसान पहुंचा रहा है वहीं हम लोग चीन को फायदा पहुंचा रहे हैं। स्वदेशी उत्पादों का उपयोग नहीं करने के कारण देश की अर्थव्यवस्था बहुत कम है। कोई भी व्यक्ति जिसका सपना अंतरिक्ष वैज्ञानिक बनने का हो तो वह इसरो में वैज्ञानिक बनना नहीं चाहता बल्कि उसका सपना नासा में काम करने का होता है। इससे देश का भला कैसे होगा । ये बात देशवासियों को ही तय करना है कि वे देश का विकास, सम्पन्नता, अमीरी देखना चाहते है या गरीबी, भुखमरी, और सर्वनाश..........